भूतिया दुल्हन । chudail ki shadi | Bhootni ki Kahani:
भूतिया दुल्हन ( chudail ki shadi ) एक ऐसी भूतनी की कहानी (Bhootni ki Kahani) है, जिससे भूतिया समाज के बारे में जानने को मिलेगा | एक बहुत विशाल जंगल था और उसी जंगल के बीच, एक भूतिया खंडहर था जहाँ, भूतों के परिवार रहते थे | भूतों के परिवारो की अलग अलग बिरादरी थी | किसी को अमावस्या वाले भूत का दर्जा मिला था तो, किसी को आत्महत्या वाले भूत का | सभी अपने आप में श्रेष्ठ थे और इन्हीं के बीच में, एक चुड़ैल जोकि, विवाह योग्य हो चुकी थी | चुड़ैल के माता पिता जो कि ऊँचे दर्जे के भूत भूतनी थे | उन्हें अपने बिटिया चुड़ैल के लिए, एक भयानक भूत की तलाश थी | चुड़ैल की शादी ( chudail ki shadi ) की ख़बर से, सभी भूतों में मनहूसियत आ जाती है | पूरे खंडहर को सजाने के लिए, पक्षियों के खून के छींटे डाले जाते हैं | चुड़ैल अपनी शादी की ख़बर सुनते ही, बेशर्मों की तरह, सारे खंडहर में ज़ोर ज़ोर से हँस कर उड़ने लगती है | भूत भूतनी भी अपनी बेटी को देखकर बहुत दुखी होते हैं | भूत भूतनी अपनी बेटी के लिए, एक भयंकर भूत की तलाश में थे, लेकिन उन्हें पाँच भूतों के रिश्ते आते हैं | चुड़ैल के पिता अपनी बेटी चुड़ैल को, मनमर्ज़ी का पति चुनने की इजाज़त देते हैं | चुड़ैल बेटी की शादी के पहले, तीन शर्तें होती है जो, इन्हें पूरी करेगा, वही चुड़ैल का पति कहलाएगा | पाँच में से पहली शर्त, “भूत का स्वयं का, ख़ूनी इतिहास से भरा, डरावना खंडहर होना चाहिए” दूसरी शर्त, “उसे कम से कम एक इंसान को दहशत से मारना होगा” | तीसरी और आख़िरी शर्त, उसी भूत को पता चलेगी जो, पहले की दो शर्तें पूरी करेगा | पहली शर्त के परीक्षण के लिए, पांचों भूतों से उनके खंडहर का नक्सा लिया जाता है, जिससे भूतों के खंडहरों का खूनी इतिहास जाना जा सके |
पांचों में से एक भूत का खंडहर, ऐसा भी था, जिसे तोड़कर वहाँ अस्पताल बनने वाला था, इसलिए उसे पहली शर्त पूरी न कर पाने की वजह से, बाहर कर दिया जाता है | बाक़ी चार भूतों के खंडहर ख़ूनी थे, इसलिए उन्हें अगली शर्त के लिए योग्य प्रतिभागी माना जाता है | बचे हुए चारों भूतों से खंडहर से थोड़ी दूर, सड़क पर निकल रहे लोगों को, दहशत देकर मारने को कहा जाता है | चारों भूत अपना जौहर दिखाने के लिए, काली रात में, सड़क के ऊपर, इंसानों की मौत बनकर, मंडराने लगते हैं | पहला भूत रास्ते से आ रही बस के सामने, भयानक चेहरा दिखाते हुए खड़ा हो जाता है, लेकिन बस ड्राइवर, बिना गाड़ी रोके, भूत के ऊपर से ही बस निकाल कर चला जाता है | जिस वजह से यह भूत, अयोग्य साबित हो जाता है | दरअसल यह मेन हाईवे था | यहाँ राहगीरों का आना जाना लगा रहता था | तभी अचानक बचे हुए भूतों में से, एक भूत की नज़र सड़क पर जा रही बूढ़ी औरत पर पड़ती है | वह सोचता है कि, यह कमज़ोर दिल की होगी, इसे डराना आसान है और वह बूढ़ी औरत के सामने, हवा के झोंके की तरह, मंडराने लगता है, लेकिन बूढ़ी औरत, अंधी होती है | वह भूत को हवा का झोंका समझ कर, लकड़ी के सहारे आगे बढ़ती जाती है और यह भूत बुढ़िया को दहशत देने में नाकामयाब हो जाता है | इस भूत की क़िस्मत ख़राब थी और इसे भी दुल्हा बनने के योग्य नहीं माना जाता | अब केवल दो ही भूत बचे थे, लेकिन उन्हें तीनों शर्तें पूरी करना अनिवार्य था | दोनों मन में दुखी हो रहे होते हैं | उन्हें लगने लगता है कि, वही चुड़ैल का दूल्हा बनने जा रहे हैं | तभी दोनों रोड पर नज़र जमाए बैठे रहते हैं और अचानक, एक एंबुलेंस मरीज़ को लेकर सड़क से जा रही होती है | दोनों सोचते हैं कि, इससे बेहतर मौक़ा नहीं मिलेगा क्योंकि, इसमें जो मरीज़ होगा, वह मरने की हालात में होगा | दोनों एक साथ एम्बुलेंस के सामने तूफ़ान मचा देते हैं | अचानक एंबुलेंस का ड्राइवर, घबराकर ब्रेक लगा देता है और भूतों को देखकर, भाग खड़ा होता है | भूत तुरंत एम्बुलेंस में, उपस्थित मरीज़ के पास पहुँच जाते हैं और कुछ ही देर में, मरीज़ की जान निकल जाती है | दोनों शैतानी हंसी हँसने लगते हैं |
दोनों मन ही मन, सोच रहे होते हैं कि, उनकी वजह से ही यह इंसान मर गया जबकि, वह इमरजेंसी केस था और उसे डॉक्टरों ने, हार मानकर बड़े अस्पताल भेज दिया था | उसी एम्बुलेंस में मरीज़ का बेटा भी होता है जो, अपने पिता की मौत से ज़ोर ज़ोर से एम्बुलेंस के अंदर ही रोने लगता है | उसे रोता देख, सभी भूत ख़ुश हो जाते हैं और हवा में चक्कर लगाने लगते हैं | दोनों भूत दहशत में, अपनी दावेदारी पेश करने के लिए चुड़ैल के सामने पहुँच जाते हैं, लेकिन चुड़ैल दुविधा में है क्योंकि, एम्बुलेंस के अंदर दोनों भूत एक साथ घुसे थे और उसी दौरान मरीज़ की जान चली गई है, लेकिन यह नहीं पता कि, किस भूत को देखने से मरीज़ दहशत में मारा गया | तभी चुड़ैल दोनों भूतों को, दूसरी शर्त के लिए योग्य मानते हुए, तीसरी शर्त बताती है | तीसरी शर्त सुनकर सभी के होश उड़ जाते हैं | शर्त थी कि, उस मरे हुए इंसान के अंदर जाकर, उसे दोबारा जीवित करना होगा और जो भूत यह करने योग्य होगा, वही चुड़ैल का दूल्हा बनेगा | दोनों भूत उस मरीज़ के अंदर प्रवेश कर जाते हैं | अचानक मरीज़, अपनी जगह पर उठकर बैठ जाता है | उसे जीवित देखते ही, उसका बेटा अपने पिता को गले लगा लेता है, लेकिन पिता के अंदर भूतिया आत्मा समाई हुई थी | दोनों भूतों का पता नहीं चल रहा था | मरीज़ तो जीवित हो चुका था, लेकिन वह किस भूत की वजह से है, यह पता कर पाना संभव नहीं था, इसलिए चुड़ैल दोनों भूतों को आने को कहती है, लेकिन एक ही भूत उस तक पहुँच पाता है | दूसरा भूत मरीज़ के शरीर में हमेशा हमेशा के लिए क़ैद हो जाता है | दरअसल मरीज़ एक नेक इंसान था, जिसके अंदर बहुत से अच्छे कर्म छुपे हुए थे, इसी वजह से अंदर गया भूत दोबारा बाहर नहीं आ पाता और वह एक पवित्र आत्मा बन जाता है | मरा हुआ मरीज़, ज़िंदा होकर, अपने बेटे के साथ, चलते फिरते घर पहुँच जाता है और आख़िरी में बचे हुए भूत को ही, चुड़ैल का दूल्हा घोषित कर दिया जाता है |
चुड़ैल दुखी दुखी जानवरों की, खोपड़ियों की माला, विजेता भूत को पहना देती है और दोनों पति पत्नी, खून के प्याले के साथ, अपनी भूतिया ज़िंदगी की शुरुआत करते हैं और इसी के साथ भूतिया कहानी ( chudail bhoot ki kahani in hindi ) ख़त्म हो जाती है |
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